मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि महाकुंभ से जुड़ी परियोजनाओं को 10 दिसंबर तक हर हाल में पूरा करें। इसमें लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी। योगी ने कहा कि महाकुंभ से जुड़े कार्यों का लोकार्पण प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से कराया जाएगा। रविवार को प्रयागराज पहुंचे मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने महाकुंभ से जुड़े कार्यों की समीक्षा करने के बाद अखाड़ा परिषद और साधु-संतों के साथ बैठक की। इसके बाद आईट्रिपलसी में महाकुंभ के कार्यों और प्रगति की समीक्षा की। सीएम योगी ने कहा कि महाकुंभ में वीआईपी श्रद्धालुओं को लिए ग्राीन कॉरिडोर का निर्माण कराया जाएगा। ताकि आम श्रद्धालुओं को किसी तरह की दिक्कत न हो और उन्हें असुविधा का सामना न करना पड़े। तीर्थ यात्रियों के लिए 90 होल्डिंग एरिया बना जाएंगे। सीएम ने कहा कि महाकुंभ मेले में दस स्तर की सिक्योरिटी की व्यवस्था रहेगी। हर व्यक्ति पर नजर रखी जाएगी। इस बार मेले में तीन महिला थाने बनाए जाएंगे। हर अखाड़े में तैनात होंगे नोडल अफसर
योगी ने कहा कि सनातन धर्म का गौरव बढ़ता है तो संतों का भी गौरव बढ़ेगा। समाज में संतों को लेकर अब धारणा बदल रही है। लोग साधु-संतों को सम्मान दे रहे हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि मेरा प्रयास होगा कि वह प्रत्येक 10 दिन में प्रयागराज आएं और यहां हो रहे कार्यों को देखें। कहा कि अब यहां शाम के समय ही आऊंगा और रात में भ्रमण करूंगा ताकि आम लोगों को किसी प्रकार की दिक्कत न हो।
उन्होंने साधु संतों को हर प्रकार की सुविधा और सुरक्षा का आश्वासन दिया। योगी ने कहा कि प्रत्येक अखाड़े के लिए एक-एक नोडल अफसर की तैनाती होगी। महाकुंभ मेले के दौरान प्रयागराज में मांस और मदिरा पर पूरी तरह से प्रतिबंध रहेगा। उन्होंने कहा कि गुलामी के निशान हटने चाहिए। इसके लिए सरकार तेजी से प्रयास कर रही है।
सीएम ने कहा कि यह पौराणिक मेला है। इसमें साधु-संत ही मुख्य हैं। इसलिए साधु-संतों की सलाह पर ही सारे कार्य किए जाएंगे। सीएम ने 2019 के कार्यों की सराहना की। कहा कि उस समय के अधिकारियों ने सारे कार्यक्रमों को काफी अच्छे तरीके से कराया।
समय सीमा और गुणवत्ता से कोई समझौता नहीं
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अधिकारियों को सख्त निर्देश देते हुए कहा कि महाकुंभ की परियोजनाओं में समय सीमा और गुणवत्ता के साथ कोई समझौता नहीं किया जाएगा। अगर ऐसा हुआ तो जवाबदेही तय की जाएगी। सीएम ने कहा कि मेले में आने वाले एक-एक व्यक्ति का सत्यापन होना जरूरी है। सुरक्षा के लिहाज से इस व्यवस्था को अनिवार्य रूप से लागू किया जाना चाहिए। सीएम ने साधु संतों से भी कहा कि मीडिया से बातचीत करते समय किसी तरह की नकारात्मक टिप्पणी करने से बचें.