योगी सरकार ने उच्च शिक्षा को दी नई उड़ान, सम्भल, बाराबंकी और फतेहपुर में निजी विश्वविद्यालयों को मिली मंजूरी
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योगी सरकार ने उच्च शिक्षा को दी नई उड़ान, सम्भल, बाराबंकी और फतेहपुर में निजी विश्वविद्यालयों को मिली मंजूरी



लखनऊ, 29 अक्टूबर 2025।

 मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में उच्च शिक्षा के क्षेत्र में निजी निवेश को प्रोत्साहन और गुणवत्तापूर्ण शिक्षण संस्थानों की स्थापना के प्रयासों को निरंतर गति मिल रही है। इसी क्रम में बुधवार को तीन निजी विश्वविद्यालयों को संचालन प्राधिकार-पत्र और आशय-पत्र प्रदान किए गए। इनमें राधा गोविन्द विश्वविद्यालय, चन्दौसी (जनपद सम्भल) तथा बोधिसत्व विश्वविद्यालय, बाराबंकी को संचालन प्राधिकार-पत्र (लेटर ऑफ ऑथराइजेशन) प्रदान किया। वहीं, ठाकुर युगराज सिंह विश्वविद्यालय, फतेहपुर के प्रायोजक एंग्लो संस्कृत कालेज, फतेहपुर को 'आशय-पत्र' (लेटर ऑफ इंटेंट) सौंपा गया।


प्रदेश के उच्च शिक्षा मंत्री योगेन्द्र उपाध्याय ने लखनऊ स्थित अपने आवास में इन विश्वविद्यालयों को संचालन प्राधिकार-पत्र और 'आशय-पत्र' सौंपे। इस अवसर पर उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में प्रदेश सरकार उच्च शिक्षा संस्थानों के विस्तार, कौशल-आधारित शिक्षा और युवाओं के लिए स्थानीय स्तर पर गुणवत्तापूर्ण अध्ययन अवसर उपलब्ध कराने के लिए निरंतर प्रयासरत है। उन्होंने कहा कि निजी विश्वविद्यालय प्रदेश के शिक्षा परिदृश्य में पूरक भूमिका निभाते हुए स्थानीय युवाओं को उन्नत शिक्षा, अनुसंधान और रोजगार के अवसर प्रदान करेंगे।


राधा गोविन्द विश्वविद्यालय, चन्दौसी का नाम उत्तर प्रदेश निजी विश्वविद्यालय (पंचम संशोधन) अध्यादेश, 2025 के अंतर्गत अधिनियम की अनुसूची-2 में क्रमांक 52 पर तथा बोधिसत्व विश्वविद्यालय, बाराबंकी का नाम तृतीय संशोधन अध्यादेश, 2025 के तहत क्रमांक 50 पर सम्मिलित किया गया है। इन विश्वविद्यालयों के संचालन हेतु शासन द्वारा अधिसूचना और संचालन प्राधिकार-पत्र जारी किए गए हैं। 


फतेहपुर जिले में प्रस्तावित ठाकुर युगराज सिंह विश्वविद्यालय के लिए राज्य सरकार द्वारा जारी ‘आशय-पत्र’ में यह निर्देश दिए गए हैं कि प्रायोजक संस्था को 5 करोड़ रुपये की स्थायी विन्यास निधि सृजित करनी होगी, न्यूनतम 20 एकड़ (नगरीय क्षेत्र) या 50 एकड़ (ग्रामीण क्षेत्र) भूमि सम्यक रूप से धारित करनी होगी, तथा 24 हजार वर्गमीटर फर्श क्षेत्रफल का निर्माण कर उसमें न्यूनतम 2 करोड़ रुपये मूल्य के शैक्षणिक उपकरण, फर्नीचर और प्रयोगशाला सामग्री स्थापित करनी होगी।


इस अवसर पर प्रमुख सचिव एम. पी. अग्रवाल, सचिव अमृत त्रिपाठी, विशेष सचिव गिरिजेश त्यागी सहित विश्विद्यालय के अधिकारीगण उपस्थित रहे।

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