प्रयागराज राजर्षि टंडन मुक्त विश्वविद्यालय: विकसित भारत के लिए गांव के अंतिम पायदान तक पहुंचे विकास की किरण- गुरु प्रसाद
देश के विकास के लिए उत्तर प्रदेश का समृद्ध होना आवश्यक- प्रोफेसर सत्यकाम
प्रयागराज 18/10/2025: उत्तर प्रदेश राजर्षि टंडन मुक्त विश्वविद्यालय, प्रयागराज के मानविकी विद्या शाखा के तत्वावधान में शनिवार को विकसित उत्तर प्रदेश @2047 समृद्धि का शताब्दी पर्व महाभियान के अंतर्गत विकसित उत्तर प्रदेश @2047 हमारा प्रयास और संभावनाएं विषय पर सेमिनार का आयोजन किया गया। कार्यक्रम के मुख्य वक्ता श्री गुरु प्रसाद मौर्य, विधायक, फाफामऊ विधानसभा ने कहा कि विकसित उत्तर प्रदेश के लिए यह जरूरी है कि गांव के अंतिम पायदान पर विकास हो। विकसित भारत के लिए आर्थिक, शैक्षिक, आध्यात्मिक, सांस्कृतिक, स्वच्छता, स्वास्थ्य , स्वच्छ पर्यावरण, जल, बिजली, रोजगार की व्यवस्थाएं समुचित होना चाहिए। जनप्रतिनिधि श्री मौर्य ने कहा कि सरकार लघु कालीन एवं जन कल्याणकारी योजनाओं को चलाने के लिए कार्य कर रही है जिससे प्रदेश एवं राष्ट्र का विकास हो। पर्यावरण के संरक्षण के लिए मां के नाम एक पेड़ लगाने की पहल सरकार कर रही है और यह वर्तमान में जन आंदोलन का रूप ले चुका है। इसी प्रकार जल संरक्षण एवं जैविक खेती के विकास के लिए सरकार हर संभव प्रयास कर रही है। अनावृष्टि, अतिवृष्टि, ग्लोबल वार्मिंग, वनों की कटाई, रसायनों का प्रयोग पर्यावरण के लिए संकट है। इस पर रोकथाम के लिए लोगों को जागरूक किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि मिशन शक्ति महिलाओं के लिए समृद्धि एवं विकास के लिए योजना है। आज वरिष्ठ नागरिकों जिनकी उम्र 70 वर्ष के ऊपर है, सरकार उनके मुफ्त इलाज के लिए आयुष्मान कार्ड जारी कर रही है।
कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए विश्वविद्यालय के कुलपति आचार्य सत्यकाम ने कहा कि देश के विकास के लिए उत्तर प्रदेश का समृद्ध होना बहुत आवश्यक है। राम, कृष्ण, तुलसी ,कबीर , जायसी सभी यहीं उत्तर प्रदेश की भूमि से हैं। सांस्कृतिक, राजनीतिक और आर्थिक दृष्टि से यह सबसे मजबूत प्रदेश है। प्रदेश के विकास के लिए सभी को एकजुट होना होगा। वर्तमान में उत्तर प्रदेश उद्योग और विकास में भी महत्वपूर्ण स्थान बना रहा है। विकास ने उत्तर प्रदेश के द्वार खोल दिए हैं। आर्थिक रूप से और कृषि संपन्न इस प्रदेश में अनेक ऐसी सरकारी या प्रशासनिक योजनाएं चल रही है। कुलपति प्रोफेसर सत्यकाम ने कहा कि हमारे फाफामऊ विधानसभा क्षेत्र के प्रत्येक व्यक्ति का शिक्षित होना आवश्यक है। ऐसी योजनाएं बनाई जानी चाहिए जिससे जन-जन कल्याण के साथ-साथ प्रति व्यक्ति तक शिक्षा पहुंचे । इसी दिशा में मुक्त विश्वविद्यालय में आंगनबाड़ी कार्यकत्रियों के लिए पोषण एवं बाल शिक्षा पर आधारित पाठ्यक्रम चलाया गया है, जिसमें सभी आंगनबाड़ी महिलाओं के नामांकन के लिए जन सहयोग और शासन के सहयोग की आवश्यकता है। पर्यावरण की चिंता के लिए जागरूक रहना आवश्यक है।
वेबीनार/ सेमिनार के समन्वयक आचार्य विनोद कुमार गुप्त ने वाचिक स्वागत एवं विषय प्रवर्तन किया। कार्यक्रम का शुभारंभ दीप प्रज्वलन व मां सरस्वती के प्रतिमा पर माल्यार्पण करके किया गया । इस अवसर पर श्री अनुराग शुक्ला द्वारा कुलगीत प्रस्तुत किया गया। कार्यक्रम का संचालन आयोजन सचिव डॉ अतुल कुमार मिश्रा ने किया। संगोष्ठी के निदेशक प्रोफेसर सत्यपाल तिवारी ने सभी के प्रति आभार व्यक्त किया। कार्यक्रम का समन्वय डॉ साधना श्रीवास्तव ने किया।